वाट्सएप की सेवा शर्तों में क्या हुए हैं बदलाव? क्यों है चिंता का विषय, जानिए सब कुछ

नई दिल्ली।।वाट्सएप ने अपनी सेवा शर्तों में बदलाव की घोषणा की है जो आठ फरवरी से प्रभावी हो जाएगी। अगर आप वाट्सएप की सेवा को जारी रखना चाहते हैं तो उसकी शर्तों को मानना ही होगा। वाट्सएप ऐसा ही एक बदलाव चाट जनवरी, 2021 को कट चुका है। हालांकि, वाट्सएप की नई सेवा शर्तों के खिलाफ अमेरिका समेत अन्य देशों में आवाज उठने लगी है। लोग भी वैकल्पिक मैसेजिंग एप का रुख करने लगे हैं। आइए जानते हैं कि वाट्सएप की सेवा शर्तों में क्या बदलाव हुए हैं और लोग चिंतित क्यों हैं..

ऐसा क्यों किया

फेसबुक इंक ने फेसबुक, एफबी मैसेंजट, इंस्टाग्राम और वाट्सएप की सेवाओं को एकीकृत करने का फैसला किया है। फेसबुक प्रमुख मार्क जुकरबर्ग ने अक्टूबर 2020 में इस योजना की घोषणा की थी। इस क्रम में इंस्टाग्राम व एफबी मैसेंजर को एकीकृत किया जा चुका है। नई सेवा शर्तों में बताया गया है कि बिजनेस टू बिजनेस और बिजनेस टू कस्टमर के लिए वाट्सएप का इस्तेमाल कैसे किया जाएगा। वाट्सएप भुगतान विकल्पों को लागू कर रहा है और फेसबुक इनके आंकड़ों को एकत्रित करना चाहेगा। इस पहल को आननफानन में लागू किया जाएगा, ताकि पहले से जारी अविश्वास को आधार बनाकर उस पर रोक न लगाई जाए। अमेरिकी फेडरल ट्रेड कमीशन व कई राज्यों ने मनमाने रुख के लिए फेसबुक को अदालत में चुनौती भी दी है। एक मांग यह है कि इंस्टाग्राम व वाट्सएप को फेसबुक से अलग (डीलिंक्ड) कर दिया जाए।

इसका आम यूजर की निजता पर प्रभाव पड़ेगा। वाट्सएप यूजट के कुछ आंकड़े अपने पास रखता है। फेसबुक भी ऐसा ही करता है। ये आंकड़े अलग-अलग खांचे में संग्रहीत होते हैं। कंपनी को लगता है कि अगर इन खांचों को एकीकृत कर दिया जाए तो उसके पास ज्यादा जानकारियां उपलब्ध होंगी। उदाहरण के लिए, कंपनी यह जान सकती है कि वाट्सएप के लिए इस्तेमाल किए जाने वाला फलां नंबट फेसबुक पर किस नाम से सक्रिय है। आठ फरवरी से फेसबुक आपकी लोकेशन का सटीक आंकड़ा जुटा सकता है अगर आपने वाट्सएप को इसकी अनुमति दे रखी हो।कंपनी वाट्सएप पर उपलब्ध आपके संपर्क, संवाद व समूहों की तुलना र फेसबुक के संपर्क, संवाद, गतिविधियों व समूहों से कट सकती है। अगर आप वाट्सएप की लेनदेन सेवा का उपयोग करते हैं तो फेसबुक आपके बैंक अकाउंट या कार्ड से संबंधित ब्योरा का इस्तेमाल कर सकता है।

किन आंकड़ों को साझा कर सकता है वाट्सएप

वाट्सएप की सेवा शर्तों के अनुसार, ‘हम आपकी जिन गतिविधियों के बाटे में सूचनाएं जुटाते हैं, उनमें सेवा संबंधी, नैदानिक व प्रदर्शन संबंधी सूचनाएं शामिल हैं। इसमें वाट्सएप सर्विस सेटिंग, यूजर इंट्रैक्शन, टाइम, फ्रीक्वेंसी, गतिविधियों की अवधि. लॉग फाइल्स व नैदानिक लॉग आदि शामिल हैं। इसके अलावा हमारी सेवा में पंजीयन, इस्तेमाल की जाने वाली सेवाओं, प्रोफ़ाइल फोटो अबाउट (आपके बाटे में जानकाटी) आदि से संबंधित सूचनाएं अपने पास रखते हैं। आपकी डिवाइस व कनेक्शन, मॉडल, ऑपरेटिंग सिस्टम, ब्रॉजट, आइपी एड्रेस, फोन नंबर व डिवाइस ( की पहचान से संबंधित डाटा भी इकट्ठा करते हैं। इनके अतिरिक्त नई सेवा शतों में बैट्री के स्तर, सिग्नल स्ट्रेंथ, एप वर्जन व फेसबुक के उत्पादों जैसे-ओनावो औट क्राउडटैंगल आदि को निर्दिष्ट किया गया है। वाट्सएप एप काटोबाट के दौरान भी यूजर की सूचनाएं साझा हो सकती हैं। बिजनेस अकाउंट के साथ साझा की गई सूचनाएं तीसरे पक्ष के सेवा प्रदाता के पास पहुंच सकती हैं।

लोगों की चिंता की ये हैं वजहें

अगर सभी एप का एकीकरण हो जाएगा और इन्हें अलग-अलग खांचे में नहीं बांटा जाएगा तो ढेर साटी सूचनाएं सार्वजनिक हो जाएंगी। भारतीयों के लिए सबसे चिंता का विषय तो यह है कि यहां स्कूल व आवासीय सोसायटियां वाट्सएप ग्रुप के जरिये सूचनाओं का आदान प्रदान करती हैं। ऐसे में फेसबुक नाबालिगों के निजी सूचनाओं को हासिल कर लेगा, मसलन वे कौन से स्कूल में पढ़ते हैं, फिलहाल वे कहां हैं और उनकी तस्वीट आदि। यानी, फेसबुक आपके बच्चे के स्कूल से लेकर सोसायटी से जुड़ी हर छोटी बड़ी सूचनाएं हासिल कर लेगा।

गोपनीयता में सेंध

भले ही वाट्सएप दो लोगों के संवाद की गोपनीयता बरकरार रखने का दावा कर रहा हो, लेकिन इसमें लीकेज की आशंका से इन्कार नहीं किया जा सकता। ऐसे में अगर आप वाट्सएप की सेवा शर्तों को स्वीकार करते हैं तो आपको एक सिम ऐसा रखना होगा जिससे सिर्फ वाट्सएप का संचालन करें। बेहतर होगा कि परिवार, स्कूल व आवासीय सोसाइटियों का ग्रुप वाट्सएप पर न बनाएं।

भारत में हैं सबसे ज्यादा वाट्सएप यूजर

वर्ष 2019 में वाट्सएप के दुनियाभर में यूजर की संख्या 1.5 अरब से ज्यादा थी। तब भारत में 34 करोड़ लोग वाट्सएप का इस्तेमाल कटते थे। अक्टूबर 2020 तक दुनियाभर में यूजट की संख्या दो अरब और भारत में 40 करोड़ के करीब हो गई है।

विकल्प क्या हैं

सिग्नल को वाट्सएप का बेहतर विकल्प माना जा रहा है। इंस्टाग्राम को भी लोग ठीक मान रहे हैं। हालांकि, ये विकल्प तभी काटगट है जब आप खुद इनका इस्तेमाल करने लगे और अपने जानने वालों को भी इन विकल्पों के इस्तेमाल के लिए तैयार करें।

By पंचायत समीक्षा

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